ग्वालियर, 03 जनवरी। मध्यप्रदेश के सेवानिवृत अर्ध-सैनिक बलों के करीब दो लाख से भी ज्यादा परिवारों को पेंशन और दूसरी समस्याओं के लिए दिल्ली तक भटकना पड़ता है, तब बड़ी मुश्किल से सुनवाई हो पाती है। इस संबंध में कनफेडरेशन ऑफ एक्स पैरामिलिट्री फोर्सेस वेलफेयर एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने रविवार को स्थानीय सांसद विवेक नारायण शेजवलकर को अपनी मांगों से संबंधित ज्ञापन सौंपाय़ ज्ञापन में मांग की गई है कि प्रदेश के हर जिले में पैरामिलिट्री फोर्स का कल्याण बोर्ड गठित किए जाएं, और अर्धसैनिक बलों के शहीदों की याद में स्मारक की स्थापना की जाए।
कनफेडरेशन ऑफ एक्स पैरामिलिट्री फोर्सेस वेलफेयर एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने स्थानीय सांसद विवेक नारायण शेजवलकर सहित जनप्रतिनिधियों से अपील की है कि मध्यप्रदेश के हर जिले में अर्ध-सैनिक कल्याण बोर्ड का गठन किया जाए ताकि पैरामिलिट्री सर्विस पेस्कीम लागू की जा सके और 2004 के बाद के पैरामिलिट्री जवानों को ORP का लाभ मिल सके। कनफेडरेशन ऑफ एक्स पैरामिलिट्री फोर्सेस वेलफेयर एसोसिएशन के राष्ट्रीय महासचिव रणवीर सिंह ने बताया कि वह मुख्यमंत्री शिवराज सिंह, केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिहं तोमर और सभी जनप्रतिनिधियों से मांग कर चुके है कि अर्ध-सैनिक बलों के जवानों की समस्याओ की सुनवाई के लिए प्रदेश में कल्याण-बोर्ड गठित किए जाएं, लेकिन लंबे अर्से से आग्रहों के बाद भी प्रदेश सरकार कोई सुनवाई नहीं कर रही है। फलस्वरूप प्रदेश में दो लाख से भी ज्यादा सेवानिवृत अर्ध-सैनिक बलों के कार्मिकों के आश्रितों, खास तौर पर शहीदों की विधवाओं को अपनी पेंशन जैसी कई समस्याओं के लिए दिल्ली के चक्कर लगाने पड़ते हैं।