ख़बर ख़बरों की डेस्क, 07 नवंबर। अमेरिकी राष्‍ट्रपति चुनाव में इलेक्‍टोरल वोटों की गिनती में डेमोक्रेटिक पार्टी के उम्‍मीदवार जो बाइडन अपने प्रतिद्वंद्वी व रिपब्लिकन पार्टी के उम्‍मीदवार डोनाल्‍ड ट्रंप से काफी आगे निकल गए हैं। खबर लिखे जाने तक जो बाइडेन 264 इलेक्‍टोरल वोटों के साथ व्‍हाइट हाउस पहुंचने के काफी करीब हैं, जबकि ट्रंप को अब तक 214 वोट ही मिले हैं। शु्क्रवार रात राष्‍ट्रपति ट्रंप ने भी हार मानने के संकेत दिए हैं। माना जा रहा है कि अमेरिका में भावी राष्‍ट्रपति की तस्‍वीर साफ नज़र आने लगी है। आइए जानने की कोशिश करें कि आखिर कौन से कारण हैं, जो ट्रंप की जीत की राह में कांटा बन गए, कौन से ऐसे मुद्दे रहे जो हार-जीत का कारण बने।

हाल ही में प्रकाशित ‘आब्जर्वर रिसर्च फाउंडेशन’ के विश्लेषण में चार कारणों को ट्रंप की हार का प्रमुख कारण माना है।

  1. अमेरिकी राष्‍ट्रपति चुनाव में COVID-19 इफेक्‍ट भी एक प्रमुख कारण रहा। कोरोना महामारी ने अमेरिका को सामजिक-आर्थिक हर दृष्टि से झकझोरा। इस दौरान ट्रंप का इसकी रोकथाम को लेकर सामने आए नज़रिये ने भी राष्ट्रपति चुनाव पर बेहद असर डाला। डेमोक्रेटिक पार्टी ने इसे चुनावी मुद्दा बना डाला। डेमोक्रेटिक पार्टी के उम्‍मीदवार जो बाइडन ने अपने अभियान में कोरोना महामारी के प्रबंधन को लेकर राष्‍ट्रपति ट्रंप की कार्यशैली पर प्रश्न खड़े कर जोरदार हमले किए। चुनाव अभियान में बाइडन ने लगातार दोहराया कि COVID-19 संक्रमण के फैलने में ट्रंप का विशेष योगदान है। इस दौहराव से बाइडन ने स्‍थापित कर दिया कि अमेरिका में कोरोना से हुई मौतों के लिए ट्रंप की नीति जिम्‍मेदार है।
  2. महामारी के दौरान दोनों नेताओं के बीच प्रतिबंधों को लेकर भी गंभीर मतभेद रहे। जो बाइडन कठोर प्रतिबंधों की वकालत करते रहे, जबकि ट्रंप ने कठोर प्रतिबंधों को नकार  दिया। ट्रंप की दलील थी कि कोरोना को रोकने के लिए कठोर नियम अमेरिकी अर्थव्‍यवस्‍था को नुकसान पहुंचाएंगे, इस तरह वह अर्थव्‍यवस्‍था को खोले रखने की वकालत करते रहे, उन्हें भरोसा था कि अर्थव्‍यवस्‍था बहुत जल्‍द पटरी पर लौट आएगी।
  3. जो बाइडन ने राष्‍ट्रपति ट्रंप को इसी COVID-19 के अस्त्र से गैर-जिम्‍मेदार राष्‍ट्रपति के रूप में स्‍थापित कर दिया। कोरोना वायरस प्रोटोकॉल के उल्लंघन को लेकर ट्रंप लगातार विपक्ष की निशाना बने रहे। राष्‍ट्रपति ट्रंप ने आलोचना के बाद भी कई चुनावी रैलियों में मास्‍क नहीं पहना, रैलियों में मास्‍क की खिल्‍ली भी उड़ाई। ट्रंप की रैलियों में डिस्टेसिंग नियमों का पालन भी नहीं किया गया। हालांकि, बाद में अपनी कई रैलियों एवं व्‍यक्तिगत कार्यक्रमों में ट्रंप मास्‍क के साथ भी नजर आए, लेकिन तब तक विपक्ष उन्‍हें एक गैर जिम्‍मदार राष्‍ट्रपति के रूप में स्‍थापित करने में सफल हो चुका था। मतदाता के रुझान को भांपते हुए जो बाइडन ने COVID-19  की रोकथाम के वैज्ञानिकों के सुझाए उपायों और परामर्श पर आस्‍था जताई और इसे एक संवेदनशील मुद्दा माना।
  4. चुनाव के ऐन मौके पर अमेरिका में अश्वेत आंदोलन ने अमेरिकी राजनीति और राष्‍ट्रपति चुनाव को प्रभावित किया। पुलिस कस्‍टडी में अश्‍वेत जॉर्ज फ्लायड की मौत के बाद अमेरिका में जबरदस्‍त नस्‍लीय हिंसा हुई। हालांकि इस हिंसा में ट्रंप का स्‍टैंड एकदम साफ था, उन्‍होंने अश्वेतों के उग्र आंदोलन अमेरिकी कानून व्‍यवस्‍था का उल्‍लंघन माना और सख्‍ती से पेश आए। यहां तक तो ठीक था, लेकिन ट्रंप ने अश्‍वेत आंदोलन में हुई हिंसा को आतंकवाद घोषित कर दिया। इससे अमेरिकी वामपंथियों को मौका मिला और ट्रंप के विरुद्ध नैरेटिव खड़ा कर दिया।
  5. उलटे जो बाइडेन ने नस्‍लीय हिंसा के प्रति काफी उदार रवैया अपनाए रहे, और सीधे बयान से दूर रहे, जबकि उनकी पार्टी की डेमोक्रेटिक नेता व उप राष्‍ट्रपति पद की उम्‍मीदवार कमला हैरिस और पूर्व राष्‍ट्रपति बराक ओबामा ने नस्‍लीय आंदोलन को जायज ठहराया था। वामपंथियों का साजिश ट्रंप समझ नहीं सके और उलझ गए।

अब तक का गणित-6 राज्यों की मौजूदा स्थिति

ट्रम्पबाइडेन 
214253 
राज्य जहां के नतीजे बाकी हैं, लेकिन रुझान आ रहे हैं
पेन्सिलवेनिया20 वोट (बाइडेन आगे)
नॉर्थ कैरोलिना15 वोट (ट्रम्प आगे)
जॉर्जिया16 वोट (बाइडेन आगे)
एरिजोना11 वोट (बाइडेन आगे)
नेवादा6 वोट (बाइडेन आगे)
अलास्का3 वोट (ट्रम्प आगे)
अगर नतीजे ऐसे ही रहे तो+18+53
संभावित अंतिम आंकड़ा232306

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