


ग्वालियर, 05 फरवरी। दिल्ली में रहने वाले उच्चतम न्यायालय के एक वकील पर इंदौर की एक महिला ने आरोप लगाया है कि उसे नौकरी देकर शादी करने का झांसा दिया और शारीरिक संबंध बनाए। बाद में महिला को वेतन भी नहीं दिया और शादी से भी इंकार कर दिया। महिला की याचिका पर सुनवाई के दौरान शुक्रवार को आरोपी ने जमानत मांगी, लेकिन ग्वालियर के मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट मानवेन्द्र प्रताप सिंह ने जमानत याचिका निरस्त कर दी। न्यायालय ने आरोपी को धारा 376(2)(एन) नौकरी का झांसा देकर वलात्कार करने के जुर्म में जेल भेजने का आदेश दिया। ऑफिस दिया, रहने को फ्लैट भी और नौकरी व शादी के झांसे में ले करता रहा दुष्कर्म….
सहायक जिला लोक अभियोजन अधिकारी गोपाल सिंह सिकरवार ने बताया कि फरियादिया ने बीते 22 दिसंबर को ग्वालियर के विश्वविद्यालय पुलिस थाने में शिकायत की थी। शिकायत में फरियादिया ने बताया था कि न्यायालयीन कार्य से इंदौर गई थी। यहां उसकी मुलाकात आरोपी से हुई थी। आरोपी ने कानूनी सलाह देते हुए फरियादिया को बताया कि उनका ऑंफिस 608-सिल्वर आर्च, फिरोजशाह रोड नई दिल्ली में है। आरोपी ने फरियादिया को दिल्ली बुलाया, जहां आरोपी ने कहा कि अभी आप बेरोजगार हैं, मैं आपको जॉब दे दूँगा। मुझे अपना ऑफिस ग्वालियर मे खोलना है, आप मेरे कार्यालय में मैनेजर का काम करना शुरू कर दो। इसके बाद फरियादिया को फोन पर बताया गया कि ग्वालियर के फ्लेट नं-802, सत्यम रेसीडेंसी अल्कापुरी, सिटी सेंटर ग्वालियर में इंदौर से ग्वालियर आकर ज्वाइन करें। फरियादिया अपनी दोनों बेटियों को लेकर ग्वालियर आ गई और 01 सितंबर 2020 से रहना शुरू कर दिया।
इस दौरान आरोपी दिल्ली से ग्वालियर आने लगा। उसने फरियादिया को बताया कि उसका बेटा और पत्नी अमेरिका मे रहते हैं एवं बेटी ऑस्ट्रेलिया में रहती है। इंडिया में अकेला रहता है, इसलिए तुमसे शादी करना चाहता हॅू। शादी के झांसे में लेकर पीड़िता के साथ शारीरिक संबंध बनाए। फरियादिया ने शादी का आग्रह कर शारीरिक संबंध बनाने से इनकार कर दिया तो उसे नौकरी से निकालने की धमकी और उसकी बेटियों जान से मारने की धमकी देते हुये दिल्ली लौट गया। आखिरकार पीड़िता ने आरोपी के विरूद्ध शिकायत दर्ज करा दी।
फेसबुक प्रोफाइल में खुद को बताया Additional Advocate general, Supreme Court of India
शुक्रवार को ग्वालियर से गई पुलिस टीम आरोपी को गिरफ्तार कर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट मानवेन्द्र प्रताप सिंह ग्वालियर के समक्ष पेश किया जिस पर माननीय न्यायालय ने आरोपी का जमानत आवेदन निरस्त कर जेल भेजने का आदेश दिया। ज्ञताव्य हो कि आरोपी ने फेसबुक प्रोफाइल में स्वयं को उच्चतम न्यायालय में अतिरिक्त महाधिवक्ता बताया है।