ग्वालियर, 19 सितंबर। उपचुनाव का बुखार अब ग्वालियर-चंबल में बढ़ने लगा है। भाजपा में अंदरूनी असंतोष सतीश सिकरवार के कांग्रेस में जाने, पूर्व मंत्री जयभान सिंह पवैया के गाहे-बगाहे फूट रहे स्वरों में नज़र आने लगा है। यही स्वर कांग्रेस में और भी उग्र हो उठे हैं। फूल सिंह बरैया को टिकट देने के विरोध में पार्टी के पुराने दिग्गज और पूर्व गृह मंत्री महेंद्र बौद्ध ने इस्तीफा दे दिया है। शनिवार को  मध्यप्रदेश कांग्रेस कमेटी के पूर्व संयुक्त सचिव गोपीलाल भारतीय ने कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ से मांग की है कि अगर पार्टी को बहुमत मिले तो मुख्यमंत्री आरक्षित वर्ग से बनाया जाए।

अपनी मांग को लेकर आरक्षित वर्ग के कांग्रेस कार्यकर्ताओं के साथ गोपीलाल भारतीय शनिवार को ग्वालियर प्रवास पर आए पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ से मिले थे ।हालांकि पूर्व मुख्यमंत्री उनकी इस मांग पर कोई उत्तर नहीं दिया है। हालांकि गोपीलाल बारतीय ने अपनी मांग कांग्रेस आलाकमान तक भी पहुंचा दी है।

कांग्रेस में चुनाव के बुखार के साथ ही बढ़ने लगा असंतोष

  • कांग्रेस के टिकट वितरण की पहली सूची के बाद पार्टी में असंतोष के स्वर उभरने का पहला मामला मुरैना के दिमनी विधानसभा क्षेत्र में सामने आया जहां पार्टी प्रत्याशी रविंद्र तोमर का कांग्रेस के कार्यकर्ता ही विरोध करते और पुतला जलाया।
  • इसी तरह  भांडेर विधानसभा  में पूर्व गृहमंत्री महेंद्र बौद्ध ने टिकट वितरण से असंतुष्ट होकर पार्टी छोड़ने की घोषणा कर दी। कुछ यही  हालात  मुरैना की आरक्षित अंबाह सीट से भी है यहां सत्यप्रकाश सखवार को पार्टी ने प्रत्याशी बनाया है, उनका भी विरोध किया जा रहा है।

गोपीलाल भारतीय का शिगूफ़ा बढ़ा सकता है भाजपा-कांग्रेस दोनों का सिर दर्द नया शगूफ़ा गोपीलाल भारतीय ने छोड़ा है, जो भाजपा और कांग्रेस  दोनों ही के लिए सरदर्द साबित हो सकता है। गोपीलाल भारतीय ने मांग की है कि  उन्होंने अपने समाज के वोट दिलवाने में कड़ी मेहनत की है, लेकिन अब उनके समाज के लोग ही लोग सीएम  जैसे दूसरे महत्वपूर्ण पदों पर  अगड़ी जाति के लोगों को बैठा देखते हैं तो उनके मन में असंतोष के स्वर उभरते हैं। अब इस वर्ग के लोग अपने प्रतिनिधियों को ताने देने लगे हैं, कि वोट बैंक समझने वाली पार्टियां अब इस वर्ग से मुख्यमंत्री बनाएं, ताकि इस वर्ग को भी लगे कि उनकी भी पार्टी में जगह है। गोपीलाल भारतीय ने कहा है कि पार्टी को इस मांग पर गंभीरता से विचार करना चाहिए।

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