ग्वालियर, 26 अगस्त। भिंड के गोहद विकासखंड में पदस्थ शासकीय शिक्षक के घर मंगलवार को लोकायुक्त पुलिस के छापे में चल और अचल संपत्ति मिला कर मूल आय से लगभग 200 फीसदी अधिक संपत्ति मिली। एक शिकायत पर लोकायुक्त पुलिस ने खुद तस्दीक करने के बाद कार्रवाई की। गौरतलब है कि आरोपी शिक्षक को व्यापमं घोटाले में भी आरोपी बनाया गया है।  

करीब 8 महीने पहले लोकायुक्त पुलिस अधीक्षक को थाटीपुर थाना क्षेत्र के कुम्हरपुरा निवासी शासकीय शिक्षक चंद्र प्रकाश पाठक के विरुद्ध एक आवेदन मिला था जिसमें कहा गया था कि पाठक ने भ्रष्टाचार करके अकूत संपत्ति इकट्ठा की है। जिसमें चल और अचल दोनों तरह की संपत्ति शामिल है। इसकी लोकायुक्त पुलिस ने तस्दीक करने के बाद चंद्र प्रकाश पाठक के आवास पर छापा मारा।  

चंद्रप्रकाश के मुताबिक शिकायत उटीला के प्रदीप और अनिल पाठक ने रंजिशन की है। चंद्रप्रकाश का आरोप है कि इन लोगों ने उसकी जमीन पर कब्जा किया है, और दबाव बनाने के लिए लोकायुक्त को शिकायत की है। लोकायुक्त पुलिस की ओर से चंद्रप्रकाश से नौकरी में आने से लेकर अब तक के वेतन की जानकारी के लिए शिक्षा विभाग को पत्र लिखेगी। गौरतलब है कि चंद्रप्रकाश पाठक 2007 में संविदा शिक्षक बना था।

लोकायुक्त पुलिस को मिली मूल आय से 200 प्रतिशत ज्यादा संपत्ति

लोकायुक्त जिसमें प्रारंभिक जांच में करीब 45 लाख रुपए से अधिक की संपत्ति मिली, लेकिन माना जा रहा है कि वर्तमान में 32 हजार प्रतिमाह वेतन वाले शिक्षक चंद्र प्रकाश के पास दो करोड़ों का मंजिला मकान, 12 बीघा जमीन, एक बुलेरो, दो बाइक, एक स्कूटर, एक बंदूक और आठ बैंक खाते मिले हैं। इसके अलावा 15 लाख रुपए के बाद की तारीखों के चेक मिले है जो कर्जदारों से लिए गए है। लोकायुक्त टीम ने जानकारी दी है कि शिक्षक चंद्र प्रकाश पाठक 2014 में व्यापमं मामले में आरोपी बना था। इसी प्रकरण में वह दो महीने जेल में भी रह चुका है, मामला अभी कोर्ट में विचाराधीन है।

टैक्स चोरी की भी आशंका
शिक्षक चंद्रप्रकाश ने जो 12 बीघा जमीन खरीदी है वह निर्धारित गाइड लाइन से भी कम कीमत पर बताकर टैक्स चोरी की संभावना भी बताई गई है। ऐसी तीन रजिस्ट्रियां मिली, जिनकी कीमत लगभग 8 लाख रुपए बताई गई है जबकि गाइड लाइन में जमीन की कीमत अधिक है।

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