मध्यप्रदेश में मौसम एक बार फिर बदला। उज्जैन में तेज आंधी के कारण महाकाल लोक में मौजूद कई मूर्तियां गिर गई हैं। हादसे में कई श्रद्धालु बाल-बाल बचे। श्री सांदीपनि आश्रम के सामने आंधी से पेड़ उखड़कर गिर पड़ा। रायसेन में आपदा मित्र प्रशिक्षण के दौरान आंधी से टेंट उड़ गया। रविवार सुबह करीब 11 बजे गुना में तेज हवा के साथ बारिश हुई। राघोगढ़ क्षेत्र के अहमदापुर में आंधी से बिजली के खंभे टूट गए। ट्रांसफार्मर गिर गया। मधुसूदनगढ़ में ओले गिरे। नर्मदापुरम, सागर, डिंडौरी, सीहोर, विदिशा में भी तेज हवाओं के साथ रुक-रुक कर बारिश हो रही है। अशोकनगर में भी बूंदाबांदी हुई। भोपाल शहर में धूप-छांव है। राजधानी में तेज हवा भी चल रही है। बैरसिया में तेज बारिश हुई।

मध्यप्रदेश में आज से एक और वेस्टर्न डिस्टर्बेंस (पश्चिमी विक्षोभ) एक्टिव हो जाएगा। नया सिस्टम भोपाल, ग्वालियर समेत प्रदेश के कई जिलों को भिगोएगा। तेज हवा भी चलेगी। सागर, छतरपुर, दमोह, पन्ना, टीकमगढ़ और निवाड़ी में ओले गिर सकते हैं। प्रदेश के कई जिलों में हवा-आंधी की स्पीड 70Km प्रतिघंटा तक रह सकती है। प्रदेश में पहले से तीन सिस्टम एक्टिव हैं। सीनियर मौसम वैज्ञानिक एचएस पांडे ने बताया कि प्रदेश में पहले से चक्रवात और दो ट्रफ लाइनें गुजर रही हैं। रविवार से चौथा नया सिस्टम एक्टिव होने से कई जिलों में बारिश होने का अनुमान है। इस कारण नमी है और दोपहर बाद प्रदेश के कई जिलों में बारिश के साथ तेज हवा चल रही है।

रविवार को भोपाल, नर्मदापुरम, चंबल, ग्वालियर, सागर और शहडोल संभाग के साथ ही बुरहानपुर, शाजापुर, आगर, मंदसौर, नीमच, रीवा, सतना, मंडला, बालाघाट, सिवनी और छिंदवाड़ा जिले में बारिश होने का अनुमान है। इसके अलावा सागर संभाग में ओलावृष्टि होने की संभावना भी है। चंबल, ग्वालियर और शहडोल संभाग के साथ कई जिलों में तेज हवा चल सकती है। मध्यप्रदेश में बदले मौसम ने ‘नौतपा’ के तेवर ठंडे कर दिए हैं। लगातार तीसरे दिन गर्मी का असर कम रहा। खंडवा में पारा 40.5 डिग्री दर्ज किया गया। बाकी हिस्सों में 40 डिग्री से कम तापमान रहा। भोपाल में 39.6, इंदौर में 38.2, ग्वालियर में 37.1 और जबलपुर में तापमान 38.4 डिग्री दर्ज किया गया। मंडला, मलाजखंड, खजुराहो, नरसिंहपुर और रतलाम में ही तापमान 40 डिग्री तक रहा। वहीं, पचमढ़ी में पारा सबसे कम 32.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।

मध्यप्रदेश में शनिवार को तेज हवा और बारिश का दौर रहा। जबलपुर में 71 किलोमीटर प्रतिघंटे की स्पीड से हवा चली। वहीं, यहां आधा इंच से ज्यादा पानी बरस गया। जबलपुर जिले के सिरोहा में भी तेज बारिश हुई। भोपाल में तेज आंधी की वजह से ग्राम अगरिया के सामुदायिक स्वास्थ्य भवन का शेड उड़ गया। सीधी, मलाजखंड में भी आधा इंच बारिश हुई। वहीं, दमोह, ग्वालियर, उमरिया, मंडला, कटनी, सागर, सिवनी में भी बारिश हुई। शिवपुरी में हवा की रफ्तार 54km, अशोकनगर में 43 km, सीहोर में 41 km प्रतिघंटा रही। वहीं, छतरपुर में 69km, बालाघाट में 63km, सागर में 56km, रीवा में 52km, दमोह में 48km, सीधी में 45km, कटनी में 43km, सिवनी में 41km, पन्ना में 39km और छिंदवाड़ा में 37km प्रतिघंटे की रफ्तार से हवा चली।

मौसम वैज्ञानिक पांडे ने बताया कि मार्च से मई तक प्री-मानसून एक्टिविटी रहती है। मार्च और अप्रैल के बाद मई में भी बारिश, ओले और तेज हवा का दौर चल रहा है। मौजूदा सिस्टम की वजह से मौसम ठंडा है। ज्यादातर जिलों में दिन का तापमान 40 डिग्री से नीचे ही है, जबकि मई के आखिरी दिनों में तेज गर्मी पड़ने का ट्रेंड है। पिछले 10 साल के आंकड़ों पर नजर डाले तो ग्वालियर में 47 और भोपाल में पारा 46 डिग्री के पार पहुंच जाता है। इंदौर, जबलपुर-उज्जैन समेत बाकी शहर भी गर्म रहते हैं, लेकिन अबकी बार पारा 40 डिग्री के आसपास ही है।

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