ग्वालियर, 31 अक्टूबर। करवाचौथ पर पर पति अपनी ससुराल में पत्नी का करवाचौथ व्रत खुलवाने पहुंचा था। व्रत खोलते हुए पत्नी की विश पूरी करने पति ने वचन दिया कि वह अब कभी गुटखा नहीं काएगा। इसके बाद कुछ दिन ससुराल में मेहमानी के बाद पति-पत्नी घर वापसी के लिए रवाना हुए तो पति की तलब ने जोर पकड़ा। वह नीचे उतरा और चुपचाप गुटखा खाने लगा, किंतु पत्नी की निगाहों में यह वचन भंग आगया। पत्नी चुपके से बस से उतर कर चली गई। पति वापस आया तो पत्नी को न पा हक्काबक्का रह गया। पुलिस की मदद से पता चला कि पत्नी जयपुर रवाना हो गई है। पति किसी तरह रूठी पत्नी को मनाकर जयपुर स्टेशन से वापस लाया और दोनों अपने घर रवाना हो गए। करवाचौथ पर खाई थी सौगंध, कभी नहीं खाएगा गुटखा, वचन भंग किया तो रूठ गई पत्नी….
मध्यप्रदेश में ग्वालियर के इंदरगंज की निवासी 22 वर्षीय युवती का विवाह विगत वर्ष मेहगांव निवासी युवक से हुआ था। पहले करवाचौथ पर नई-नवेली पत्नी ने व्रत खोलने के लिए पति के समक्ष शर्त रखी थी कि वह गुटखा की लत को छोड़ दे। नवोढ़ा पत्नी के इसरार पर पति ने वचन दिया कि वह अब कभी गुटखा को हाथ नहीं लगाएगा। नव दंपत्ति 29 अक्टूबर को अपने घर मेहगांव जाने के लिए मस में बैठ गए। पति को गुटखे की तलब लगी, तो वह चुपचाप नीचे उतरा और वचन भूल गुटखा खाने लगा। पति की करतूत पत्नी की निगाहों से छिप न सकी। करवाचौथ पर दिया गया वचन भंग होते देख नई नवेली पत्नी को ऐसा गुस्सा आया कि वह पति के बस में आने से पहले ही चुपचाप उतर कर जयपुर जाने वाली बस में बैठ गई। पति जब अपनी सीट पर लौटा तो पत्नी को वहां न पा बदहवास हो गया। काफी तलाश के बाद भी जब वह नहीं मिली तो पति थाने पहुंचा और सूचना दी।
पुलिस को पत्नी के जयपुर रवाना होने का मिला सुराग शिकायत मिलते ही सक्रिय हुए पुलिस ने पता लगा लिया कि नवविवाहिता जयपुर की बस में सवार हो गई है। पति एक पुलिसकर्मी के साथ तत्काल जयपुर पहुंचा, किंतु पत्नी नहीं मिली। वह उदास मन ग्वालियर वापसी के लिए जयपुर रेलवे स्टेशन पहुंच गया। तभी उसकी खुशी का ठिकाना न रहा, पत्नी रेलवे प्लेटफॉर्म पर बैठी मिल गई। साथ आए पुलिसकर्मी की समझाइश पर रानी वापस ग्वालियर वापसी के लिए तैयार हो गई। ग्वालियर पहुंच कर वह फिर मायके जाने की जिद पर अड़ गई। पति ने दोबारा गुटखा न खाने का वचन दिया, और बड़ी मुश्किल से पत्नी को अपने वचन का विश्वास दिलाया। आखिरकार शनिवार शाम नवदंपत्ति खुशी-खुशी अपने घर मेहगांव पहुंच गए।