– मापी गई 6.3 तीव्रता, मामूली नुकसान की खबर
ताईपे। ताइवान के भूकंप प्रभावित पूर्वी काउंटी हुलिएन में सोमवार को आए भूकंप के झटकों के बाद मंगलवार सुबह कई भूकंप के झटके महसूत किए गए। इन भूकंप के झटकों से मामूली नुकसान होने की खबर है कोई जानी नुकसान नहीं हुआ। काउंटी हुलिएन में सोमवार शाम 5 बजे से रात 12 बजे के दौरान 80 से ज्यादा बार झटके लगे। इनमें सबसे ज्यादा तीव्रता 6.3 और 6 दर्ज की गई। भारतीय समय के मुताबिक, यह भूकंप के झटके रात 12 बजे के आसपास थोड़ी-थोड़ी देर के अंतर से आए। वहीं टीएसएमसी ने कहा कि उसने परिचालन पर कोई प्रभाव नहीं देखा। बड़े पैमाने पर ग्रामीण और कम आबादी वाले हुलिएन में 3 अप्रैल को 7.2 तीव्रता का भूकंप आया था, जिसमें कम से कम 14 लोग मारे गए थे, और तब से अब तक एक हजार से अधिक झटके महसूस किए जा चुके हैं।
ताइवान की राजधानी ताइपे समेत उत्तरी, पूर्वी और पश्चिमी ताइवान के बड़े हिस्सों में इमारतें पूरी रात हिलती नजर आईं। ताइवान के सेंट्रल वेदर एडमिनिस्ट्रेशन ने कहा कि सोमवार दोपहर से शुरू भूकंपों का सिलसिला शुरु हुआ जिसकी तीव्रता लगभग 180 आंकी गई। ताइवान के भूकंप विज्ञान केंद्र के निदेशक ने कहा कि झटके ऊर्जा का केंद्रित विमोचन थे और इससे भी ज्यादा तेज झटकों की उम्मीद की जा सकती है, हालांकि यह उतने मजबूत नहीं हैं। उन्होंने कहा, इस सप्ताह पूरे ताइवान में भारी बारिश की भविष्यवाणी के साथ, हुलिएन में लोगों को अलर्ट रहने को कहा गया है।
हुलिएन के अग्निशमन विभाग ने कहा कि तीन अप्रैल को आए भूकंप से दो इमारतों को ज्यादा नुकसान हुआ है और वे झुक रही हैं। दुनिया की सबसे बड़ी कॉन्ट्रैक्ट चिप निर्माता, ताइवान सेमीकंडक्टर मैन्युफैक्चरिंग कंपनी (टीएसएमसी) ने कहा कि फ़ैक्टरियों के कुछ कर्मचारियों को निकाला गया था, लेकिन सुविधा और सुरक्षा प्रणालियाँ सामान्य रूप से काम कर रही थीं और सभी कर्मचारी सुरक्षित हैं। मंगलवार की सुबह टीएसएमसी के ताइपे-सूचीबद्ध शेयरों में 1.75% की वृद्धि के साथ, निवेशकों ने भूकंप के बारे में चिंताओं को खारिज कर दिया। पर्वतीय हुलिएन काउंटी में आए भूकंप के झटकों से चट्टानों के गिरने के बाद कुछ सड़कें बंद होने की सूचना मिली है जिसके चलते सरकार ने स्कूल में छुट्टी घोषित कर दी है। बता दें कि ताइवान दो टेक्टोनिक प्लेटों के जंक्शन के पास स्थित है और भूकंप के प्रति संवेदनशील है। 2016 में दक्षिणी ताइवान में आए भूकंप में 100 से ज्यादा लोग मारे गए थे, जबकि 1999 में 7.3 तीव्रता के भूकंप में 2,000 से अधिक लोग मारे गए थे।