दमोह। शहर के गंगा जमना स्कूल में हिजाब मामले की जांच करने शुक्रवार को राज्य बाल आयोग की टीम स्कूल पहुंची। दूसरी तरफ शर्तो और उत्तरदायित्वों तथा समय-समय पर जारी निर्देशों का प्रथम दृष्टया पालन नहीं किए जाने के फलस्वरूप लोक शिक्षण सागर संभाग सागर के संयुक्त संचालक ने स्कूल की मान्यता तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दी है। वहीं राज्य बाल आयोग की टीम के सदस्य ओंकार सिंह और मेघा पवार स्कूल पहुंचे और प्रबंधक और प्राचार्य से जानकारी ली। बच्चों को स्कार्फ पहनाने का कारण पूछा। इस पर स्कूल प्राचार्य अफसा शेख ने कहा कि अभी तक किसी ने आपत्ति दर्ज नहीं कराई। जिस पर आयोग अध्यक्ष ने कहा कि किसी ने आपत्ति नहीं दर्ज कराई तो क्या बुर्का पहना देंगे। बाद में उन्होंने स्कूल डायरेक्टर इदरीश खान से जवाब मांगा। इस पर उन्होंने कहा कि यह स्कूल का ड्रेस कोड है। इसके जवाब में उन्होंने कहा हिंदू धर्म में कहीं भी बच्चियों का सिर ढंकने की परंपरा नहीं है। इसके बाद आयोग के सदस्यों ने उन अभिभावकों से बात की जिन्होंने स्कूल पर आरोप लगाए थे की उनकी बेटियों को हिजाब पहनने मजबूर किया जाता है। टीम के साथ दमोह तहसीलदार मोहित जैन और जिला शिक्षा अधिकारी एसके मिश्रा मोजूद रहे। टीम के सदस्यों ने स्कूल की किताबों की जानकारी भी ली।
शिक्षा विभाग ने हिजाब मामले में नियमोें का पालन नहीं किए जाने पर स्कूल की मान्यता निलंबित कर दी है। जारी आदेश के तहत मध्यप्रदेश माध्यमिक एवं उच्चतर माध्यमिक शालाओं की मान्यता नियम 2017 के नियम-11(1) के तहत अशासकीय शिक्षण संस्था-गंगा जमुना उच्चतर माध्यमिक विद्यालय दमोह (डाइस कोड-23120318304) की मान्यता, नियम 5 और 9 के अधीन विहित मानको, शर्तो और उत्तरदायित्वों तथा समय-समय पर जारी निर्देशों का प्रथम दृष्टया पालन नहीं किए जाने के फलस्वरूप लोक शिक्षण सागर संभाग सागर के संयुक्त संचालक ने तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है। यह आदेश तत्काल प्रभावशील होगा। इस संबंध में जारी आदेशानुसार जिला शिक्षा अधिकारी दमोह के द्वारा अपने कार्यालयीन पत्र के माध्यम से जिले में संचालित अशासकीय शिक्षण संस्था गंगा जमुना उच्चतर माध्यमिक विद्यालय दमोह के किए गए निरीक्षण में मध्यप्रदेश माध्यमिक एवं उच्चतर माध्यमिक शालाओं की मान्यता नियम 2017 एवं मान्यता संशोधन नियम 2020 में वर्णित निर्धारित मापदण्ड का विद्यालय में पालन नहीं करना प्रतिवेदित किया गया है।
गंगा जमना स्कूल में हिंदू छात्राओं को हिजाब पहनाने के मामले में स्कूल प्रबंधन ने स्कार्फ को हटा दिया है और लव पे दुआ बनकर गीत की जगह जन गण मन गाने की बात कही। इसके साथ ही प्रबंधन ने इस मामले में खेद भी जताया है। बता दें हिजाब मामला गरमाने के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने दमोह कलेक्टर को शीघ्र और सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए थे। साथ ही ग्रह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने भी कलेक्टर को कार्रवाई के लिए कहा था। शुक्रवार सुबह गंगा जमना स्कूल के प्रबंधक मोहम्मद इदरीस ने पत्रकार वार्ता आयोजित कर कहा की संस्था के बच्चों का हाई स्कूल का परीक्षा परिणाम उत्कृष्ट आया। बच्चों को बधाई देने के लिए एक फ्लैक्स लगाया गया था इस पर कुछ संगठनों के द्वारा आपत्ति दर्ज की गई। स्कूल यूनिफार्म से यदि किसी की भावनाएं आहत हुई है तो वह इसके लिए खेद जताते हैं और अब जन गड़ मन ही स्कूल में गाया जाएगा। संस्था की छात्राओं की स्कूल यूनिफार्म में स्कार्फ हमेशा स्वैच्छिक रखा गया था, लेकिन आपत्ति आने पर स्कार्फ हटाया जाता है और इसके स्थान पर दुपट्टा पहन सकते हैं। बाकी जांच समिति को वह जानकारी देंगे।
कलेक्टर ने भी दी थी जांच की जानकारी
एसपी कार्यालय में कलेक्टर मयंक अग्रवाल ने भी पत्रकारों को जानकारी देते हुए बताया की मुख्यमंत्री के द्वारा दिए निर्देश के बाद जांच समिति बनाई गई है जो जांच कर रही है। स्कूल प्रबंधन ने आज सुबह जानकारी देते हुए बताया की उन्होंने स्कार्फ हटा दिया है और गीत की जगह जन गण मन गया जाएगा यह जानकारी स्कूल प्रबंधन ने दी है। स्कूल 2010 से संचालित है और तभी से स्कार्फ लागू है। बता दें गंगा जमना स्कूल ने जो फ्लेक्स लगाया था उसमे हिंदू छात्राओं को जिस स्कार्फ को पहने दिखाया गया था उसी को लेकर यह विवाद सामने आया था। हिंदू संगठन के लोगों ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर कहा था की स्कूल में छात्राओं को हिजाब पहनाया जा रह है जो गलत है और उसके बाद ही गृहमंत्री और मुख्यमंत्री ने जांच के निर्देश दिए थे।